Pet Ka Ulcer Thik Karne Ka Sabse Tej Tarika Kya Hai?
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आज हम इस Pet Ka Ulcer Thik Karne Ka Sabse Tej Tarika Kya Hai?
के विषय में बता करने वाले हैं और आपको इस ब्लॉग पोस्ट में अल्सर की 100% असरदर आयुर्वेदिक दवाई बतायेंगे जिसकी मदद से आप अपनी अल्सर की समस्या से छुटकारा पा सकते हैं। अल्सर को घाव कहा जाता हैं, क्या आपको यह पता था? यह घाव जब आपके अमाशय में हो जाता हैं तो इसे पेप्टिक अल्सर कहा जाता हैं। घाव शब्द से यह सामान्य रोग लगता हैं लेकिन पेट के अंदरुनी हिस्सो में घाव होणा आप समझ सकते हैं की कितना खतरनाक साबित हो सकता हैं।
के विषय में बता करने वाले हैं और आपको इस ब्लॉग पोस्ट में अल्सर की 100% असरदर आयुर्वेदिक दवाई बतायेंगे जिसकी मदद से आप अपनी अल्सर की समस्या से छुटकारा पा सकते हैं। अल्सर को घाव कहा जाता हैं, क्या आपको यह पता था? यह घाव जब आपके अमाशय में हो जाता हैं तो इसे पेप्टिक अल्सर कहा जाता हैं। घाव शब्द से यह सामान्य रोग लगता हैं लेकिन पेट के अंदरुनी हिस्सो में घाव होणा आप समझ सकते हैं की कितना खतरनाक साबित हो सकता हैं।
शरीर के बाहरी हिस्से पर घाव का उपचार आसानी से किया जा सकता हैं, लेकिन अमाशय में घाव होणे पर उपचार में थोडी परेशानी आती हैं। यह रोग कई प्रकार का होता हैं, जैसे की गॅस्ट्रीक अल्सर, ड्युडीनल अल्सर ETC। हमने पेट का अल्सर ठीक करने का सबसे तेज तरीका क्या है? की संपूर्ण जानकारी यहा पर आपके साथ शेयर की हैं, आप इस दवाई को पढकर अपने इस्तेमाल में लेकरं आये।
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पेट का अल्सर ठीक करने का सबसे तेज तरीका क्या है?
1. अल्सर में दिव्य कुटजघन वटी के फायदे
अल्सर के उपचार में यह आयुर्वेदिक दवा बहुत हि कारगर हैं, सिद्ध योग संग्रह में उल्लेखित यह दवा सांग्रहणी अतिसार और अल्सर के उपचार में उपयोग में ली जाती हैं। इस दवा का सेवन ठंडे पाणी के साथ दिन में 2 से 3 बार 2 और 2 गोली के रुप में किया जाता हैं। अल्सर की आयुर्वेदिक दवा पतंजलि में यह दवा बहुत उपयोगी हैं।
2. अल्सर में नागकेसर एवं लोध्र त्वक चूर्ण योग के फायदे
लोध्र त्वक चूर्ण का इस्तेमाल नागकेशर चूर्ण, प्रवाल भस्म, मुक्त भस्म, शंख भस्म, और शुक्ती भस्म आदी का योग बनाकर भी अल्सर रोग में आयुर्वेदिक चिकित्सक इस्तेमाल करवाते हैं। पतंजलि स्टोर में ये सभी चूर्ण और भस्म आसानी से उपलब्ध हो जाते हैं।
3. अल्सर में दिव्य अर्जुन चूर्ण के फायदे
अल्सर की बिमारी के उपचार के लिए यह चूर्ण फायदेमंद हैं, और यह आयुर्वेद की प्रमुख जडी-बुटी अर्जुन से निर्मित हैं। यह अमाशय की अंदरुनी दिवारो को जल्दी हि भरणे में मदद करती हैं। इके साथ हि यह टॉक्सीनस आदी से पेट अंदरुनी हिस्से की सुरक्षा करता हैं।
4. अल्सर में वत्सकादी चूर्ण के फायदे
यह अल्सर में अति फायदेमंद आयुर्वेदिक दवा हैं, यह सौफ, छोटी इलायची, धनिया और बिल्व जैसे औषधीय जडी-बुटी से मिलकर बनाई जाती हैं। ये सभी आयुर्वेदिक द्रव्य अल्सर में तुरंत राहत देने वाले होते हैं, अंत: वत्सकादी चूर्ण भी अल्सर में अति लाभदायक होता हैं।
5. अल्सर में दिव्य सूतशेखर रस के फायदे
पतंजलि दिव्य सूतशेखर रस अल्सर की बिमारी में प्रमुखता से उपयोग की जाती हैं। सूतशेखर रस पतंजलि, बैद्यनाथ ETC सभी आयुर्वेदिक फार्मसी में निर्माण की जाती हैं। पित्त की अधिकता, संग्रहणी, गुल्म और अल्सर आदी रोगो में प्रमुखता से इस्तेमाल किया जाता हैं।
गैस्ट्रिक अल्सर का आयुर्वेदिक उपचार: अल्सर को जड़ से खत्म करने के उपाय
1. हरङ:-
गैस्ट्रिक अल्सर की आयुर्वेदिक दवा से कम नहीं हरड़ के फायदे। आपको सिर्फ 2 छोटी हरड़ और 4 मनुक्के को पिस कर सुबह खाने से पेट में होने वाली जलन और उल्टी जैसी समस्या ठीक हो जाती है।
2. निर्गुंडी:-
अगर आप सोच रहे है की गैस्ट्रिक अल्सर कितने दिन में ठीक होता है? तो हम आपको बता दे की आप इस 50 ग्राम निर्गुंडी के पत्ते को 1/2 लीटर पानी में धीमी आग पर पकाकर चौथाई शेष बचे तो 10 से 20 मिलीलीटर दिन में 2 से 3 बार पिए, इससे पेस्टिक alsr रोग से छुटकारा मिल जाता है।
3. सोंठ:-
1 चम्मच चव्य और 1 चम्मच सोंठ को पीसकर गाय के मूत्र में मिलाकर alsr के रोगी को सेवन करना चाहिए। इससे पेट के जख्म और दर्द ठीक होने में काफी मदद मिलती है।
4. पान:-
अगर आपको अल्सर को जड़ से खत्म करना है तो आप रोजाना पान के हरे पत्ते को आधा चम्मच रस के साथ रोज पिए इससे आपके पेट दर्द और पेट के जख्म से राहत मिलती है।
5. देवदारु:-
देवदारू एक आयुर्वेदिक जड़ी बूटी का नाम है और देवदारु, ढाक, आम की जड़, गजपीपल, सहजन, और असंगध, को गाय के ताजे मूत्र में पीस कर पेट पर लेप करने से पेट का जख्म ठीक हो जाता है।
6. दूध:-
क्या आपने कभी सोचा था की दूध अल्सर रोगी को रोजाना पिलाने से अल्सर को खत्म किया जा सकता है? जी हा रोजाना दूध पीना चाहिए और साथ ही अनार का रस और आवले का मुरब्बा खाने से अल्सर की समस्या से राहत मिलती है।
7. केले:-
केले में एसिड की मात्रा कम करने और घाव को भरने वाले बेहतरीन गुण पाए जाते है। रोजाना 3 केले खाने से पेट में जख्म को ठीक करने और अल्सर को कम करने में मदद मिलती है।
8. एरांडेल का तेल:-
एरांडेल तेल के 2 चम्मच को गाय के मूत्र या दूध में मिलाकर सेवन करने से आंतो का अल्सर ठीक किया जा सकता है।
9. घी:-
हल्दी और मुलेठी को चूर्ण पानी में उबालकर ठंडा करके पेट पर लगाने से अल्सर रोग में राहत मिलती है।
अल्सर को जड़ से खत्म करने की आयुर्वेदिक दवा पर अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
पेट के अल्सर को ठीक करने का सबसे तेज़ तरीका क्या है?
पेट के अल्सर को ठीक करने का सबसे तेज़ तरीका पीपीआई (प्रोटॉन पंप इनहिबिटर), क्लैरीथ्रोमाइसिन और एमॉक्सिस्लिन ग्रुप की दवाएं की मदद से किया जा सकता हैं। लेकिन इसका इस्तेमाल करने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्ष जरूर कर ले।
अल्सर के लिए कौन सा सिरप सबसे अच्छा है?
अल्सर के लिए सबसे बेस्ट एयूपेप सिरप कहा जाता हैं, यह सिरप पेप्टिक अल्सर के इलाज के लिए इस्तेमाल किया जाता हैं।
अल्सर की टेबलेट कौन सी है?
अल्सर में पैनटॉप 40 टैबलेट का इस्तेमाल पेप्टिक अल्सर, गैस्ट्रोएसोफेजियल रिफ्लक्स डिज़ीज़ (जीईआरडी) और रिफ्लक्स एसोफेजाइटिस के साथ-साथ एसिडिटी, हार्टबर्न, एसिड रिफ्लक्स और निगलने में दर्द सहित इन स्थितियों से जुड़े लक्षणों के इलाज के लिए किया जाता है।
अल्सर में खाली पेट क्या खाना चाहिए?
अल्सर डाइट चार्ट में मूली, फूलगोभी, पत्ता गोभी और सेब का सेवन करना फायदेमंद माना जा सकता है।
क्या अल्सर में दूध पीना चाहिए?
अल्सर में दूध और दूध से बने प्रोडक्ट्स ना खाएं तो बेहतर हैं, लेकिन आप गेहूं और जौ से बने फूड अधिक खाएं सकते हैं।
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Health Tips